टैटू बनवाने से पहले जान लें शरीर के वो 5 हिस्से, जहां बनवाना हो सकता है खतरनाक
- May 15, 2025
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आज के दौर में टैटू बनवाना सिर्फ एक शौक नहीं रह गया है, बल्कि यह फैशन और व्यक्तित्व को दर्शाने का एक ट्रेंड बन चुका है। युवाओं से
आज के दौर में टैटू बनवाना सिर्फ एक शौक नहीं रह गया है, बल्कि यह फैशन और व्यक्तित्व को दर्शाने का एक ट्रेंड बन चुका है। युवाओं से
आज के दौर में टैटू बनवाना सिर्फ एक शौक नहीं रह गया है, बल्कि यह फैशन और व्यक्तित्व को दर्शाने का एक ट्रेंड बन चुका है। युवाओं से लेकर बड़े-बुजुर्ग तक आजकल टैटू बनवाने में दिलचस्पी दिखा रहे हैं। कोई अपने जीवन के खास पलों को दर्शाने के लिए टैटू बनवाता है, तो कोई किसी रिश्ते या प्रेरणादायक विचार को स्थायी रूप में अपने शरीर पर उकेर लेता है। टैटू आज की पीढ़ी की आत्म-अभिव्यक्ति (self-expression) का एक बड़ा माध्यम बन चुका है।
लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि टैटू बनवाना हमेशा सुरक्षित नहीं होता? टैटू बनवाने से पहले एक जरूरी बात ये जानना बेहद जरूरी है कि शरीर के कुछ हिस्से ऐसे होते हैं जो अत्यधिक संवेदनशील या जोखिमपूर्ण होते हैं। ऐसे अंगों पर टैटू बनवाना न सिर्फ बेहद दर्दनाक हो सकता है बल्कि इससे स्वास्थ्य संबंधी गंभीर समस्याएं भी उत्पन्न हो सकती हैं।
दरअसल, टैटू बनवाना एक स्थायी प्रक्रिया होती है जिसमें सुई के माध्यम से इंक को स्किन की गहराई में डाला जाता है। अब सोचिए कि अगर ये प्रक्रिया शरीर के ऐसे हिस्से पर की जाए जहां नसें ज्यादा हों, हड्डियां बहुत पास हों या स्किन अत्यधिक संवेदनशील हो, तो दर्द के अलावा वहां इंफेक्शन, स्किन एलर्जी या नर्व डैमेज जैसी समस्याएं भी हो सकती हैं। इसलिए टैटू बनवाने से पहले उसके स्थान का चुनाव बेहद सोच-समझकर करना चाहिए।
आइए जानते हैं शरीर के उन 5 हिस्सों के बारे में जहां टैटू बनवाना नहीं चाहिए:
हाथ हमारे शरीर का सबसे अधिक इस्तेमाल होने वाला हिस्सा है। हाथों की उंगलियों और अंगुलियों के बीच की त्वचा पतली होती है और वहां की नसें सतह के बेहद पास होती हैं। इस कारण इन हिस्सों पर टैटू बनवाना अत्यंत पीड़ादायक अनुभव हो सकता है। इसके अलावा, हाथों की स्किन लगातार धुलाई, सफाई, धूप और अन्य फिजिकल कामों के कारण घिसती रहती है। जिससे यहां बने टैटू जल्दी फीके पड़ सकते हैं और बार-बार टचअप की ज़रूरत पड़ सकती है।
बगल यानी अंडरआर्म शरीर का सबसे संवेदनशील हिस्सा होता है। यहां की त्वचा मुलायम होती है और पसीना लगातार आता रहता है। ऐसे में इस हिस्से पर टैटू बनवाना न सिर्फ असहनीय दर्द देता है, बल्कि पसीने के कारण टैटू जल्दी खराब भी हो सकता है। इसके अलावा, इस हिस्से में स्किन इंफेक्शन या एलर्जी का खतरा भी बढ़ जाता है क्योंकि यहां साफ-सफाई बनाए रखना थोड़ा कठिन होता है।
कोहनी शरीर का ऐसा हिस्सा है जो लगातार मोड़ा और सीधा किया जाता है। यहां की स्किन मोटी और रफ होती है लेकिन उसमें नमी की कमी होती है। टैटू बनवाने के लिए नमी और लचीलापन ज़रूरी होता है, ताकि इंक सही तरीके से स्किन में बैठ सके। कोहनी पर टैटू बनवाना बेहद कठिन होता है क्योंकि यहां हड्डी त्वचा के बहुत करीब होती है और टैटू बनवाते वक्त बहुत अधिक दर्द होता है। साथ ही कोहनी पर बने टैटू को लंबे समय तक टिकाए रखना भी मुश्किल होता है क्योंकि यहां की स्किन में लचीलापन कम होता है।
पैरों के तलवे और एड़ियां भी उन जगहों में आती हैं जहां टैटू बनवाना परेशानी का कारण बन सकता है। यहां की त्वचा मोटी होती है और दिनभर जूते-चप्पलों में बंद रहने और जमीन के संपर्क में रहने के कारण पसीना ज्यादा आता है। इसके अलावा चलने-फिरने के कारण लगातार घर्षण होता है, जिससे इस हिस्से पर बना टैटू जल्दी धुंधला हो सकता है। कई बार इस हिस्से पर बने टैटू पूरी तरह से साफ भी हो जाते हैं और बार-बार टचअप की जरूरत पड़ती है।
हथेलियों पर टैटू बनवाना जितना आकर्षक दिखता है, उतना ही नुकसानदायक भी हो सकता है। हथेलियों की स्किन सबसे ज्यादा काम में आती है और लगातार घर्षण झेलती है। इसके अलावा यहां की स्किन बहुत तेजी से रीजेनेरेट होती है, जिससे टैटू की इंक लंबे समय तक नहीं टिक पाती। इसके अलावा, इस हिस्से पर सुई से टैटू बनवाना बेहद पीड़ादायक होता है और टैटू के बाद रिकवरी भी काफी देर से होती है।
टैटू बनवाना वाकई में एक बेहतरीन तरीका है खुद को व्यक्त करने का, लेकिन इससे पहले शरीर की संरचना और स्किन की संवेदनशीलता को समझना जरूरी है। जहां एक ओर टैटू आपकी पर्सनैलिटी को नया रूप दे सकता है, वहीं दूसरी ओर यह स्वास्थ्य के लिए हानिकारक भी बन सकता है यदि सही जगह और सही तरीका न अपनाया जाए। इसलिए टैटू बनवाने से पहले रिसर्च करें, सही जगह चुनें और पेशेवर की मदद लें। शरीर के जिन हिस्सों का ज़िक्र ऊपर किया गया है, वहां टैटू बनवाने से बचें तो बेहतर रहेगा।
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